पुष्कर के एक्शन से गायब हो गये भ्रष्टाचारी
दलालों की जडें़ हुजूर ने जड़ से उखाड़ फेंकी
प्रमुख संवाददाता
देहरादून। उत्तराखण्ड में मुख्यमंत्री की कुर्सी पर आसीन हुये हसमुख युवा राजनेता पुष्कर ंिसह धामी ने अपने दो साल के कार्यकाल में वो सबकुछ कर दिखाया जो तेइस सालों से शायद कोई भी पूर्व मुख्यमंत्री अपने कार्यकाल में नहीं कर पाया था? देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के बताये रास्ते पर मुख्यमंत्री ने अपने कदम आगे बढाये तो उनका राजनीतिक वजूद उत्तराखण्ड से लेकर देश-विदेश में धाकड के रूप में एक नई पहचान बनाता चला गया। 365 दिन धाकड धामी उत्तराखण्ड के अन्दर आवाम के सामने फ्लावर रूप में आये तो भ्रष्ट और घोटालेबाजों के सामने उनका फायर रूप देखने को मिला और उनके एक्शन से राज्य के अन्दर पनपते आ रहे भ्रष्टाचारी और घोटालेबाज गायब हो गये। मुख्यमंत्री ने आवाम के सामने जब पारदर्शी और स्वच्छता भरी पारी खेलनी शुरू की तो उसके बाद दलालों की जडों पर मुख्यमंत्री ने इतना बडा प्रहार किया कि उनकी जडें उखाडकर यह संदेश दे दिया कि अब उत्तराखण्ड नया उत्तराखण्ड बनने की दिशा मंे आगे बढ़ चुका है जहां भ्रष्टाचारी और घोटालेबाजों की कोई जगह नहीं है।
2023 में मुख्यमंत्री पुष्कर ंिसह धामी एक के बाद एक धाकड राजनीतिक फैसले लेकर आवाम की नजरों में राजनीतिक हीरो बनते चले गये। मुख्यमंत्री हर मंच से यही ऐलान करते थे कि उनकी सरकार में भ्रष्टाचार और घोटालेबाजों के लिए कोई जगह नहीं है और अगर किसी ने भ्रष्टाचार और घोटाले करने का दुसाहस किया तो उसको इसका अंजाम भुगतना पडेगा। मुख्यमंत्री के ईमानदारी रूप को देखकर राज्य की जनता यह मान चुकी है कि उत्तराखण्ड में अब भ्रष्टाचार के दानव का अंत हो गया है। मुख्यमंत्री ने सभी जिलों के डीएम और पुलिस कप्तानों को साफ संदेश दे रखा है कि वह समय पर अपने दफ्तरों में बैठेंगे और वह आवाम को न्याय देने के लिए आगे खडे रहेंगे। मुख्यमंत्री पुष्कर ंिसह धामी ने 365 दिन आवाम के बीच अपना चेहरा हमेशा फ्लावर की तरह रखा और वह आवाम के बीच फ्लावर बनकर गये तथा उन्हें अपना परिवार मानकर उनके हर सुख-दुख में उनके साथ खडे हुये।
365 दिन में उत्तराखण्ड के अन्दर कई बडे संकट आवाम के सामने आकर खडे हुये लेकिन आवाम को इस बात का सुकून रहा कि उनके साथ प्रदेश का मुखिया उन्हें संकट से उभारने के लिए हमेशा उनके साथ कंधे से कंधा मिलाकर खडा रहा। मुख्यमंत्री ने भ्रष्टाचारी, घोटालेबाजों और माफियाओं को अपना फायर रूप दिखाया और उन्हें इस बात का इल्म कराया कि वह कुर्सी पर बने रहने के लिए ढुलमुल फैसले नहीं लेते बल्कि धाकड अंदाज में वह सत्ता चलाने मंे विश्वास रखते हैं। उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री की पारदर्शी नीति को देखते हुए भाजपा हाईकमान ने उन्हें फ्रीहैंड कर रखा था और पुष्कर सिंह धामी कभी भी किसी फैसले को अमल में लाने के लिए दिल्ली के चक्कर लगाते हुए नहीं दिखाई दिये। मुख्यमंत्री पुष्कर ंिसह धामी ने 365 दिनों में देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से जितनी मुलाकातें की उन मुलाकातों का आंकडा देखकर साफ अंदाजा लगाया जा सकता है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भाजपा के दिग्गज नेताओं के लॉडले बने हुये हैं। उत्तराखण्ड की जनता को यह देखकर सुखद अनुभव हो रहा है कि उनके राज्य का मुख्यमंत्री आवाम के दिल जीतने का माहिर है और आवाम के दिलों पर राज करते हुए वह उन्हें उनके सपनों का राज्य देने के लिए आगे खडा हुआ है।