प्रमुख संवाददाता
देहरादून। उत्तराखण्ड में निकाय चुनाव का चुनावी संग्राम अब धीरे-धीरे आक्रामक होता हुआ नजर आ रहा है और हर तरफ हर उम्मीदवार अपनी-अपनी जीत का रास्ता साफ करने के लिए राजनीतिक बिसात बिछाने के एजेंडे पर आगे बढ़ निकला है। उत्तराखण्ड के अन्दर राजधानी शहर के मेयर का मुकाबला काफी दिलचस्प होने की सम्भावनाओं को एक नई उडान दे रहा है और हर तरफ राजधानी में एक ही बहस चल रही है कि मेयर का ताज किस राजनीतिक दल के सिर पर चमकेगा जिससे शहर आने वाले समय में विकास से गुलजार होने के लिए आगे बढ़ सके। भाजपा, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार आम जनमानस के बीच जाकर अपनी प्राथमिकतायें उन्हें गिना रहे हैं और यह वादा कर रहे हैं कि वह चुनाव जीतने के बाद तेजी के साथ शहर का विकास करेंगे और इस विकास में कहीं पर भी कोई भ्रष्टाचार की बू नहीं आयेगी। कांग्रेस व भाजपा के छत्रपों ने अपने मेयर उम्मीदवार को जीत दिलाने के लिए हर दर पर जाने के लिए अपने आपको आगे कर दिया है तो वहीं आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार खुद ही अपनी कुछ टीम के साथ सडकों पर उतर रहे हैं और वह सोशल मीडिया पर ही आवाम से वायदे कर रहे हैं कि उन्हें मेयर बनाया जाये जिससे वह शहर को एक नये रूप में विकसित कर सकें। हालांकि आम जनमानस की निगाह में मेयर पद पर सीधा मुकाबला भाजपा व कांग्रेस के बीच मे ही नजर आ रहा है और आम आदमी पार्टी इस चुनाव में कोई करिश्मा कर सकती है ऐसा किसी को तिनकाभर भी यकीन नहीं है?
शहर के मेयर का चुनाव सरकार की प्रतिष्ठा से जुडा होता है क्योंकि जहां सरकार मौजूद होती है वहां के मेयर की सीट सरकार के मुखिया के लिए सबसे अह्म हो जाती है कि वह मेयर की कुर्सी पर अपने उम्मीदवार को आसीन करायें क्योंकि पूर्व मे भी शहर में भाजपा का ही मेयर था और अपनी जीत को बरकरार रखने के लिए भाजपा के दिग्गज नेताओं ने भी ऐडी चोटी का जोर लगा रखा है। वहीं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी शहर मे मेयर की सीट पर कमल खिलाने के लिए एक बडी राजनीतिक बिसात बिछा चुके हैं और उन्होंने चप्पे-चप्पे पर अपने नेताओं को प्रचार प्रसार में आगे कर दिया है। वहीं आम जनमानस के बीच मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी खुद मेयर की सीट पर कमल खिलाने के लिए जा रहे हैं और उन्हें संदेश दे रहे हैं कि मेयर की सीट पर कमल खिलाने से शहर का बडा विकास होगा और हर तरफ शहर एक नये रूप में ढलता हुआ नजर आयेगा। मुख्यमंत्री ने शहर के मेयर की सीट पर कमल खिलाने के लिए अपनी पूरी शक्ति लगा रखी है और सरकार व संगठन के पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं को मैदान में उतार कर पार्टी प्रत्याशी की जीत सुनिश्चित करने का उन्हें बडा जिम्मा सौंपा हुआ है। भाजपा से मेयर उम्मीदवार सौरभ थपलियाल ने आम जनमानस के बीच जाकर उन्हें वचन दिया है कि वह अपनी जीत के बाद नगर निगम को एक नई पहचान दिलाने के लिए बडे विजन के साथ काम करेंगे और देहरादून के शहर को वह हर सुख सुविधा से गुलजार करने में कभी भी पीछे नहीं हटेंगे। वहीं कांग्रेस प्रत्याशी वीरेन्द्र पोखरियाल ने भी अपनी जीत की ताल एक बडे विजन के साथ ठोक रखी है और वह पार्टी नेताओं के साथ आम जनमानस के बीच मे जाकर उन्हें संदेश दे रहे हैं कि भाजपा के तत्कालीन मेयर ने अपने शासनकाल में शहर को सुन्दर बनाने की दिशा में कोई काम नहीं किया जबकि आठ साल से राज्य के अन्दर भाजपा की सरकार है। कांग्रेस उम्मीदवार आम जनमानस को यह बता रहे हैं कि पूर्व में नगर निगम मे जो भ्रष्टाचार का खेल हुआ था वह किसी से छिपा नहीं था और किसी भी भ्रष्टाचारी पर कोई कार्यवाही नहीं हुई। उन्होंने आम जनता से अपील की है कि इस बार वह उन्हें मेयर पद पर जीत दिलायें जिससे वह मेयर बनने के बाद शहर को एक नया रूप देने के लिए आगे आयेंगे और यह भी संकल्प लिया कि उनके कार्यकाल में नगर निगम के अन्दर हमेशा पारदर्शिता और स्वच्छता के साथ काम होगा और शहर को सुन्दर बनाने मे वह अपनी पूरी ताकत झोंक देंगे।
वहीं आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार रविंद्र आनंद ने भी सोशल मीडिया पर अपने प्रचार प्रसार का सारा जोश दिखा रखा है और वह आम जनमानस को संदेश दे रहे हैं कि अबकी बार उन्हें शहर का मेयर बनाये तो वह शहर की तस्वीर बदल देंगे लेकिन उनके साथ आवाम का कारवां जुडता हुआ नहीं दिख रहा है जिससे आम आदमी पार्टी मेयर पद के चुनाव पर कांग्रेस व भाजपा को टक्कर दे पायेगी यह असम्भव ही दिख रहा है और इसी से राजधानी के अन्दर बस एक ही सवाल पनप रहा है कि मेयर का ताज किसके सिर पर चमकेगा।